🍁 *حدیث:-* وَعَن عَائِشَةُ زَوْجِ النَّبِيِّ صَلَّى اللَّهُ عَلَيْهِ وَسَلَّمَ أَنَّ النَّبِيَّ صَلَّى اللَّهُ عَلَيْهِ وَسَلَّمَ: كَانَ إِذَا اغْتَسَلَ مِنَ الْجَنَابَةِ بَدَأَ فَغَسَلَ يَدَيْهِ ثُمَّ يَتَوَضَّأُ كَمَا يَتَوَضَّأُ لِلصَّلَاةِ ثُمَّ يُدْخِلُ أَصَابِعَهُ فِي الْمَاءِ فَيُخَلِّلْ بِهَا أُصُولَ شَعَرِهِ ثمَّ يصب على رَأسه ثَلَاث غرف بيدَيْهِ ثمَّ يفِيض المَاء على جلده كُله
وَفِي رِوَايَةٍ لِمُسْلِمٍ: يَبْدَأُ فَيَغْسِلُ يَدَيْهِ قَبْلَ أَنْ يُدْخِلَهُمَا الْإِنَاءَ ثُمَّ يُفْرِغُ بِيَمِينِهِ عَلَى شِمَاله فَيغسل فرجه ثمَّ يتَوَضَّأ
🍁 *तर्जुमा :-* आयशा रज़ियल्लाहु अन्हा बयान करती हैं, जब अल्लाह के रसूल सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम जनाबत (नापाकी) का ग़ुस्ल करते, तो आप सबसे पहले हाथ धोते, फिर वुज़ू करते जैसे नमाज़ के लिए वुज़ू किया जाता है,फिर अपने उंगलिया पानी में दाख़िल करते और उससे अपने बालो की जड़ो का ख़िलाल करते, फिर अपने सर पर तीन चुल्लू पानी डालते, फिर अपने पूरे जिस्म पर पानी बहाते।
और मुस्लिम की रिवायत में है: आप सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ग़ुस्ल करते, तो आप सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम अपने हाथो को किसी बर्तन में डालने से पहले धोते, फिर अपने दाएं हाथ से बाएँ हाथ पर पानी डालते और अपने शर्मगाह को धोते, फिर वुज़ू करते।
📚 *[मुत्तफ़िक़ अलैह, बुख़ारी (248), मुस्लिम (718), मिशकातुल मसाबीह (435)]*
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